Yajooj Aur Majooj Ka Waqia | याजूज माजूज का किस्सा हिन्दी में

Yajooj Aur Majooj Ka Waqia | Yajuj aur majuj ka kissa hindi mein
Yajooj Aur Majooj Ka Waqia


Yajooj Aur Majooj Ka Waqia

प्यारे दोस्तों कयामत की एक ऐसी बड़ी निशानी , जिस से मुकाबला करने की ताकत किसी इंसान के अंदर नहीं होगी । ऐसी कौम जिसका जिक्र कयामत के करीब पेश आने वाले वाक्यात में मिलता है । Yajooj Aur Majooj के इस दुनिया में दोबारा खुरूज़ की अहमियत का अंदाजा इस बात से भी लगाया जा सकता है , कि दज्जाल , जो कि कयामत की बड़ी निशानियों का मरकज है मगर इसका तस्केरा कुरअान में कहीं भी नहीं मिलता , लेकिन Yajooj Aur Majooj का जिक्र कुरआन में तफ्सीर से मौजूद है ।


दोस्तों अबाबुन्नाश में इस कौम के बारे में बहुत से मुखतलिफ ख्यालात पाए जाते हैं, मगर ज्यादातर लोग इनकी हकीकत से बेखबर है : 

  • Yajooj Aur Majooj कैसे दिखते हैं ?

  • और यह किस शक्ल सूरत के होंगे ?

  • वह कौन सी दीवार है जिसके पीछे Yajooj Aur Majooj कैद हैं ?

  • और वह इस दीवार में कितना सुराख कर चुके हैं ?


ये सारी बातें आज आपको इस पोस्ट में मालूम होगी , आप से गुजारिश है कि पोस्ट को आखिर तक जरूर पढ़ें ।


यह भी पढ़ें : अशहाब ए कहफ (Ashab E Kahaf) का वाकिया

Yajooj Majooj Kon Hai ?

दोस्तों जमाना-ए-कदीम में बहुत सी कौमें गुजरी हैं , जो जुल्मो ज़ाबरियत में अपनी मिसाल  खुद थीं , और उनकी ताकत और दहशत की बिना पर , हर तरफ उन्हीं का सिक्का चलता था । ऐसे ही एक कौम Yajooj Aur Majooj की भी थी । जुलमो ज़ाबरियत की दास्तान रकम करती ये कौम कोई और मखलूक नहीं , बल्कि आदम (अ) ही की औलाद थी । बाज़ मुफक्किरीन के मुताबिक यह कौम हजरत नूह अलैहिस्सलाम और आप की औलाद में से है । हजरत नूह अलैहिस्सलाम के तीन बेटे थे , जिनमें से एक का नाम याफिश था , याफिश के 12 बेटे थे और उनमें से दो का नाम Yajooj Aur Majooj था । इन्हीं से इनकी नस्ले आगे चली ।


हजरत जुलकरनैन कौन हैं ?

इसके अलावा Yajooj Aur Majooj के साथ ही जो अहम नाम , ज़ेरे तस्केरा आता है, वह हजरत जुलकरनैन का है । दोस्तों हजरत जुलकरनैन के बारे में कहा जाता है , कि ये कोई नबी नहीं बल्कि अल्लाह के एक नेक बुजुर्ग बंदे और बादशाह थे । जिनको जुलकरनैन का लकब चंद वुजूहात की बिना पर दिया गया :


  1. एक तो ये कि वो जमीन की दो इन्तहाओं में सफर किया करते थे , यानी मशरीक और मगरीब के दरमियान

  2. और कुछ लोगों के मुताबिक उन्हें यह नाम , रोम और पेरिस पर हुक्मरानी के वजह से अता किया गया । 


बहादुर और ताकतवर बादशाह होने के नाते दुनिया भर के बादशाह इन के ताबेअ थे , और उनके खलेरे भाई , यानी हजरत खिज़्र अलैहिस्सलाम इनके खास वज़ीर थे ।


यह भी पढ़ें : शौहर और बीवी के हुकूक क्या हैं ? हदीस की रोशनी में


हजरत जुलकरनैन अक्सर हालत सफर में रहते , इसी दौरान वह ऐसी सल्तनत में पहुंचे , जहां तुर्क आबाद थे । यह सल्तनत आर्मीनिया और अजरबैजान की सरहद के करीब मौजूद थी । वहां दो पहाड़ों के बीच एक जगह थी जिसमें एक कौम आबाद थी , जो तुर्कों का कत्लेआम किया करती थी , और अपनी सरकशी और फितनाअंगेजी के वजह से बेहद मशहूर थी । ये कौम हर तरह की बुराइयों का मजमुआ थी , और इनतिहाई ताकतवर कौम थी , जिससे मुकाबला करना किसी के बस की बात नहीं थी ।

Yajooj Majooj Ka Kissa

इसका जिक्र कुरान ए करीम की सूरह कहफ़ में , Yajooj Aur Majooj , और हजरत जुलकरनैन के हालात बयान करते हुए फरमाया गया है , कि


जब वो अपने शुमाली मुहिम के दौरान , दो पहाड़ों के दरमियान पहुंचा , तो उसे ऐसी कौम मिली जिसकी ज़बान ना काबिले फहम थी । जब तरजुमान के जरिए गुफ्तगू हुई , तो उन्होंने अर्ज किया , कि Yajooj Aur Majooj इस मुल्क के बड़े फसादी हैं । अगर आप इनके और हमारे बीच में एक दीवार खड़ी कर दें , तो हम आपके लिए खर्च का इंतजाम करेंगे ।


हजरत जुलकरनैन ने बगैर किसी खर्च या मुआवजे के , सिर्फ सवाब की नियत से इस काम को करने की रजामंदी जाहिर कर दी , और उन पहाड़ों के दरमियान लोहे और पिघले हुए तांबे की एक मजबूत दीवार खड़ी कर दी । जिससे वक्ती तौर पर Yajooj Aur Majooj का फितना दब गया , और जब यह दीवार तामीर हो गई तो हजरत जुलकरनैन ने अल्लाह तआला का शुक्र अदा किया , और साथ ही लोगों को यह भी बता दिया , कि अगरचे दीवार बहुत मजबूत है , मगर यह हमेशा के लिए नहीं है , जब उस रब का हुक्म करीब आएगा , तो यह दीवार खुल जाएगी ।


यह भी पढ़ें : मैय्यत (Maiyyat) से क्या पढ़वाना चाहिए ?


सहीह बुखारी हदीस में नबी अकरम हजरत मुहम्मद मुस्तफा सल्लल्लाहू अलैही वसल्लम ने , इस दीवार में थोड़े से सुराख को फितने के करीब होने से ताबीर फरमाया था । एक और हदीस में आता है कि Yajooj Aur Majooj , हर रोज इस दीवार को तोड़ते हैं और कल के लिए छोड़ देते हैं । फिर जब अल्लाह की मशीयत इनको बाहर निकालने की होगी , तो वो कहेंगे कि कल इंशाअल्लाह हम इस दीवार को तोड़ेंगे , और फिर दूसरे दिन , वो इस दीवार से निकलने में कामयाब भी हो जाएंगे ।


जब यह कौम आजाद हो जाएगी तो वह तबाही मचाते हुए निकल पड़ेगी , और उनका पहला गिरोह बहरे तिब्रिया तक पहुंचेगा , और उस झील का सारा पानी पी जाएगा । इसी तरह जब आखिरी गिरोह वहां पहुंचेगा , तो वह हैरान होकर कहेगा कि यहां कभी पानी हुआ करता था ।


फिर यह कौम हर तरफ फसाद बरपा कर देगी , और हर बुलंदी से उतरती हुई नजर आएगी , और एक वक्त ऐसा आएगा , कि सारी जमीन पर इन्हीं का कब्जा होगा । जब यह कौम यरूशलम के पहाड़ पर पहुंचेगी तो कहेगी , अब तमाम जमीन पर हमारा कब्जा है । और आसमान की तरफ तीर बरसाना शुरू कर देगी । और वो तीर खून से रंगे हुए वापस लौटेंगे ।


नबी अकरम सल्लल्लाहु अलैहि वसल्लम ने उनका हुलिया बताया , कि इनके कद छोटे होंगे और चेहरे चौड़े चौड़े होंगे , और आंखें छोटी सी होंगी । फिर हजरत ईसा अलैहिस्सलाम को अल्लाह रब्बुल इज्जत इरशाद फरमाएगा , कि वह मुसलमानों को दूर के तरफ जमा कर ले, क्योंकि Yajooj Aur Majooj का मुकाबला किसी के बस में ना होगा । हजरत ईसा अलैहिस्सलाम और उनके साथी , उस वक्त ऐसी जगह खड़े होंगे , जहां खाने पीने की सख्त कमी होगी ।


यह भी पढ़ें : जन्नत के दरवाजे और जन्नत के अंगूर कितने बड़े होंगे ?


फिर लोगों की दरख्वास्त पर , हजरत ईसा अलैहिस्सलाम अल्लाह तआला से दुआ फरमाएंगे । अल्लाह ताला उनकी गर्दन और कानों में कीड़े पैदा फरमाएगा , और वह सब उनसे हलाक हो जाएंगे ।


और आलम यह होगा , कि हर तरफ उन्ही की लाशें बिखरी पड़ी होंगी । फिर अल्लाह

रब्बुल आलमीन खास किस्म के परिंदों को मुकर्रर करेगा , जिनकी गर्दन ऊंटों की तरह होगी , और वह उनकी लाशों को उठाकर उस जगह ले जाएंगे , जहां पर अल्लाह

का हुक्म होगा ।


फिर तेज बारिश होगी , जो सारी जमीन को साफ कर देगी , और हर तरफ हरियाली और खुशहाली होगी , और इस तरह Yajooj Aur Majooj का इस दुनिया से खात्मा हो जाएगा ।


Conclusion

दोस्तों उम्मीद है कि Yajooj Aur Majooj के बारे में ये पोस्ट आपको पसंद आया होगा । इसे अपने तमाम दोस्तों को शेयर जरूर कीजिएगा । हमारी अगली पोस्ट के आने तक आप अपना और अपनों का बहुत ख्याल रखिएगा , तबतक के लिए अल्लाह हाफिज !



आपको हमारे यह पोस्ट भी पसन्द आएंगे :


यह भी पढ़ें : Salatul Tasbeeh (सलातुल तस्बीह) Ki Nama Ka Tarika


यह भी पढ़ें : Azan Ke Baad Ki Dua in Hindi & Urdu 


About the Author

This Article has been written by Muhammad Saif. 🙂

एक टिप्पणी भेजें

Oops!
It seems there is something wrong with your internet connection. Please connect to the internet and start browsing again.
AdBlock Detected!
We have detected that you are using adblocking plugin in your browser.
The revenue we earn by the advertisements is used to manage this website, we request you to whitelist our website in your adblocking plugin.
Site is Blocked
Sorry! This site is not available in your country.